पहली बार पीरियड्स आने पर मनाया जाता है उत्सव
नई दिल्ली – पीरियड्स के दौरान महिलाओं को छुआछूत का सामना करना पड़ता है। लेकिन देश में कई ऐसे राज्य हैं, जहां पहली पीरियड्स को त्योहार की तरह सेलिब्रेट किया जाता है। आइए जानते हैं देश के किन जगहों पर पीरियड होने पर जश्न मनाया जाता है।
असम में पहले पीरियड्स को तुलोनिया बिया के नाम से सेलिब्रेट किया जाता है. इस समारोह को शादी के तरह ही भव्य तरीके से आयोजित किया जाता है. इस दौरान लड़की को कोई भी काम करने से मना किया जाता है. लड़की को किसी एकांत जगह पर सात दिनों तक रखा जाता है. ऐसा माना जाता है कि इस दौरान तारों, सूरज और चंद्रमा को देखना अच्छा नहीं होता है.
कर्नाटक में भी लड़की के फर्स्ट पीरियड को बहुत ही भव्य तरीके से मनाया जाता है। इस दौरान औरतें मिलकर सेलिब्रेट करती हैं। इसे ऋतु शुद्धि या ऋतु कला के नाम से भी जानते हैं। इस दौरान लड़की को साड़ी पहनाई जाती है। दरअसल, यहां के इस रिवाज के अनुसार, लड़की बड़ी हो रही हैं। इसलिए साड़ी पहनना जरूरी माना जाता है। इस मौके पर हाफ साड़ी पहनाने की परंपरा है।
तमिलनाडु में इस सेलिब्रेशन को मंजल निरातु वीजा के नाम से जाता जाता है. इस सेरेमनी में सभी गेस्ट को बुलाया जाता है। लड़की को हल्दी के पानी से नहलाया जाता है. इसके साथ सिल्क की साड़ी और ज्वैलरी पहनाई जाती है. इस सेरेमनीमें लड़की के मामा एक झोपड़ी बनाते हैं। इसे आम, नीम और नारियल के पत्तों का इस्तेमाल करके बनाया जाता है। इस दिन कई तरह की स्वादिष्ट डिशेज भी बनाई जाती हैं. इस समारोह का समापन पुण्य धनम के साथ होता है। झोपड़ी को हटा दिया जाता है।पंडित घर को शुद्ध करता है।
आंध्र प्रदेश में फर्स्ट पीरियड को लेकर अनूठी परंपरा है। इस राज्य में लड़की को पहली बार पीरियड होता है, तो समारोह का आयोजन किया जाता है। इसे सेलिब्रेशन को पेडमनिषी पंडगा के नाम से जाना जाता है। इस समारोह का आयोजन पीरियड्स के पहले और पांचवें दिन किया जाता है।