RBI on UPI: गूगल पे- Paytm से कर सकेंगे 5 लाख रुपये तक का पेमेंट
नई दिल्लीः अगर आप यूपीआई का इस्तेमाल बहुत करते हैं. GPay, Amazon Pay, PayTm और Phone Pe जैसी ऐप्स के जरिए पैसों का लेन-देने करते हैं तो ये खबर आपके लिए बेहद महत्वपूर्ण हैं.देश में यूपीआई के प्रयोग को बढ़ावा देने के लिए रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया लगातार प्रयासरत रहा है. यही वजह है कि हर महीने यूपीआई ट्रांजेक्शन की संख्या बढ़ती ही जा रही है. आरबीआई ने यूपीआई में ऑफलाइन ट्रांजेक्शन से लेकर आर्टिफिशल इंटेलिजेंस (AI) के इस्तेमाल को बढ़ावा दिया है क्योंकि आरबीआई ने बड़ा एलान किया है. RBI गवर्नर ने यूपीआई के जरिए पैसों के लेन-देने को बढ़ाने का फैसला किया है. आरबीआई गवर्नर (RBI Governor) शक्तिकांत दास (ShaktiKant Das) ने शुक्रवार को मॉनिटरी पॉलिसी मीटिंग के ऐलान में बताया कि रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं किया जा रहा है. साथ ही उन्होंने हॉस्पिटल और शिक्षा संस्थानों में यूपीआई ट्रांजेक्शन की सीमा बढ़ाकर पांच लाख रुपये करने की भी घोषणा कर दी.
हॉस्पिटल और शिक्षा संस्थानों में कर सकेंगे ज्यादा भुगतान
आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने पॉलिसी के बाद बताया कि यूपीआई के जरिए पेमेंट की लिमिट 1 लाख रुपये से बढ़ाकर 5 लाख रुपये कर दी गई है. लेकिन ये अभी एजुकेशन संस्थानों के लिए की जा सकती है या फिर इसका इस्तेमाल हॉस्पिटल में किया जा सकता है.आरबीआई के नए फैसले के बाद हॉस्पिटल और शिक्षा संस्थानों में अब यूपीआई की मदद से ज्यादा पेमेंट किया जा सकेगा. नई नीति के अनुसार, अब इन जगहों पर प्रति ट्रांजेक्शन एक लाख के बजाय 5 लाख रुपये तक का भुगतान यूपीआई से किया जा सकेगा. इस फैसले से इन संस्थानों में यूपीआई के इस्तेमाल को बढ़ावा मिलेगा. अस्पतालों के बिल और स्कूल-कॉलेजों फीस जमा करने में होने वाली असुविधा कम हो जाएगी.
पांच लाख तक के भुगतान की अनुमति
नए नियम के तहत आप अस्पतालों और शैक्षणिक संस्थानों में यूपीआई के माध्यम से एक बार में पांच लाख रुपये तक का भुगतान कर सकते हैं. इसके अलावा उन्होंने बताया कि आरबीआई की तरफ से जीडीपी ग्रोथ के अनुमान को 6.50 से बढ़ाकर 7 प्रतिशत कर दिया गया है. नए साल की पहली तिमाही में जीडीपी का आंकड़ा 6.7 परसेंट रहने की उम्मीद है. आपको बता दें मौजूदा वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही के जारी हुए आंकड़ों में जीडीपी बढ़कर 7.6 प्रतिशत पर पहुंच गई है.
लोन की ईएमआई पर कोई राहत नहीं
रिजर्व बैंक ने मौद्रिक नीति में रेपो रेट और दूसरी नीतिगत दरों में कोई बदलाव नहीं किया है. इस तरह लोन की ईएमआई पर कोई राहत नहीं मिली मिलेगी. आरबीआई की मौद्रिक नीति में रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं होने से बैंकों को समान दरों पर लोन मिलता रहेगा. ये लगातार चौथी बार है, जब रिजर्व बैंक ने अपनी नीतिगत दरों में कोई बदलाव नहीं किया.
NPCI ने UPI पेमेंट्स के लिए 1 लाख रुपये की लिमिट तय की है
बता दें कि NPCI ने UPI पेमेंट्स के लिए फिलहाल लिमिट तय की है. NPCI का कहना है कि हर यूजर UPI के जरिए एक दिन में सिर्फ 1 लाख रुपये तक ही पेमेंट कर सकता है. इससे ज्यादा आप पेमेंट नहीं कर पाएंगे. हर दिनका 100 या 200 रुपये का पेमेंट करने वालों के लिए तो परेशानी नहीं होगी लेकिन जो लोग एक दिन में ज्यादा ट्रांजेक्शन करते हैं और वो भी UPI के जरिए उनके लिए काफी परेशानी हो सकती है. अब जानते हैं कि हर ऐप के जरिए कितनी राशि एक दिन में ट्रांजेक्ट की जा सकती है.GPay का इस्तेमाल अगर आप करते हैं तो आपको ध्यान देना होगा कि एक दिन में आप UPI के जरिए 1 लाख रुपये तक ही भेज पाएंगे. इससे ज्यादा आप पेमेंट नहीं कर पाएंगे. आप जितना भी एक दिन में पेमेंट करते हैं चाहें वो अलग-अलग ही क्यों न हो, कुल मिलाकर 1 लाख रुपये तक होना चाहिए.NPCI के मुताबिक, यहां से भी आप 1 लाख रुपये तक भेज पाएंगे. Paytm एक घंटे में 20,000 रुपये तक की ट्रांजेक्शन करने की अनुमति देता है. हर घंटे मिनिमम 5 ट्रांजेक्शन और मैक्सिमम 20 ट्रांजेक्शन की अनुमति है.PhonePe यूजर्स को एक दिन में 1 लाख तक का लेन-देन करने की अनुमति देता है. यह उस बैंक अकाउंट पर भी निर्भर करता है जिससे व्यक्ति पैसे ट्रांसफर कर रहा है.
5.40 फीसदी रहेगी महंगाई दर
शक्तिकांत दास ने वित्त वर्ष 2024 में देश में रिटेल महंगाई दर 5.40 फीसदी ही रहने का अनुमान जताया है. अगस्त, 2023 में आरबीआई ने महंगाई दर के अनुमान को 5.40 फीसदी कर दिया था. पिछले कुछ वक्त में खाने-पीने की चीजों के दाम में जबरदस्त बढ़ोतरी दर्ज की गई है. साथ ही कच्चे तेल की कीमतों में भी उतार-चढ़ाव देखा जा रहा है. इसके बावजूद आरबीआई ने महंगाई दर का अनुमान नहीं बढ़ाया है. दास ने कहा कि खाद्य महंगाई दर में बढ़ोतरी के पीछे सप्लाई चेन जैसे कई अन्य कारण भी शामिल हैं. केंद्रीय बैंक ने महंगाई पर प्रोजेक्शन देते हुए वित्त वर्ष 2024 की तीसरी तिमाही में मुद्रास्फीति दर 5.6 फीसदी और चौथी तिमाही में 5.20 फीसदी रहने का अनुमान जताया है.
महंगाई दर को 4 प्रतिशत पर लाने का लक्ष्य
इस दौरान उन्होंने महंगाई को लेकर भी चिंता जाहिर की और कहा कि महंगाई दर नरम रही लेकिन खाद्य महंगाई दर का बढ़ना चिंताजनक बना हुआ है. उन्होंने कहा कि अभी महंगाई दर को 4 प्रतिशत पर लाने के लक्ष्य तक हम नहीं पहुंच पाए हैं. इसके लिए हमें काम करते रहना होगा. मौजूदा वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही में खुदरा महंगाई दर के 5.6 प्रतिशत पर रहने की संभावना है. वहीं, चौथी तिमाही में यह 5.2 प्रतिशत रह सकता है. कुल मिलाकर पूरे वित्तीय वर्ष के दौरान यह 5.4 परसेंट के आंकड़े करीब रह सकती है.आपको बता दें रॉयटर्स की तरफ से कराए गए एक सर्वे में 41 इकोनॉमिस्ट ने नवंबर में खुदरा महंगाई दर बढ़ने की आशंका जताई है. पिछले दिनों प्याज और टमाटर की बढ़ती कीमत ने महंगाई को लेकर सरकार की चिंता बढ़ा दी है. कीमत पर लगाम लगाने के लिए सरकार की तरफ से प्याज के निर्यात पर लगी रोक को आगे बढ़ा दिया गया है. अक्टूबर में महंगाई दर गिरकर 4.87 प्रतिशत पर आ गई थी.