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राजनीति

दिल्ली शराब नीति मामले में CM केजरीवाल को मिली अग्रिम जमानत,तो क्या अब ED समन नहीं भेजेगी?


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नई दिल्लीः दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को ED के समन की अनदेखी मामले में थोड़ी राहत मिली है। दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने उन्हें 15 हजार के निजी मुचलके पर जमानत दे दी। दिल्ली शराब घोटाला मामले में लगातार 8 बार ईडी के समन की केजरीवाल अनदेखी कर चुके हैं, इसके खिलाफ एजेंसी ने अदालत में दो याचिकाएं दायर की थी। आज अदालत ने केजरीवाल को इन दोनों मामलों में जमानत ही। यानी अब उन्हें नियमित पेशी के लिए नहीं आना पड़ेगा। लेकिन ये मामला अभी भी कोर्ट में चलेगा। केजरीवाल की तरफ से उनके वकील अपना पक्ष रखेंगे। वहीं अरविंद केजरीवाल की आगे की राह क्या होगी और ED इस मामले में अब क्या करेगा? आइए समझते हैं।दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल आबकारी नीति मामले में ईडी के समन पर पेश न होने को लेकर उनके खिलाफ दर्ज जांच एजेंसी के दो मामलों के संबंध में अदालत के समक्ष पेश हुए. दिल्ली की राऊज एवेन्यू कोर्ट ACMM ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को 15,000 रुपये के निजी मुचलके और 1 लाख रुपये की ज़मानत राशि पर बेल दी.

केस खत्म नहीं हुआ, केवल पेशी से राहत मिली

सबसे पहले तो ये समझ लीजिए कि आज अदालत ने सीएम केजरीवाल को केवल नियमित पेशी से जमानत दी है। यानी यह मामला अभी भी कोर्ट में विचाराधीन है। अदालत में केजरीवाल के वकील ने दलील दी कि सीएम के खिलाफ जो भी धाराएं हैं, वो जमानती हैं। वहीं वो एक संवैधानिक पद पर बैठे हैं और एक राष्ट्रीय पार्टी के प्रमुख भी हैं। ऐसे में उनके पास कई जिम्मेदारी हैं। लेकिन अदालत के आदेश का पालन करते हुए वो आज कोर्ट में पेश हुए। इसके बाद अदालत ने उनकी जमानत की अर्जी मंजूर कर ली और 15 हजार के निजी मुचलके पर जमानत दे दी।दरअसल, अरविंद केजरीवाल प्रवर्तन निदेशालय के बार-बार समन करने के बावजूद पूछताछ के लिए पेश नहीं हो रहे थे. ऐसे में ईडी ने कोर्ट में केजरीवाल के खिलाफ याचिका दायर की थी. ईडी ने मजिस्ट्रियल अदालत में याचिका दायर कर केजरीवाल पर मुकदमा चलाने की मांग की थी, क्योंकि वह अब खत्म हो चुकी दिल्ली शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में उन्हें जारी किए गए पहले तीन समन के बाद भी पूछताछ के लिए पेश नहीं हुए थे.

क्या केजरीवाल को शराब घोटाले मामले में राहत मिली?

दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने आज ED की उन याचिकाओं पर सुनवाई की, जो एजेंसी ने सीएम केजरीवाल के द्वारा समन की अनदेखी करने पर दायर की थी। अदालत ने केजरीवाल को अदालत में पेश होने का समन जारी किया था। यानी केजरीवाल कोर्ट के समन का जवाब देने के लिए अदालत में पेश हुए थे। जहां उन्हें नियमित पेशी से राहत मिली। लेकिन शराब घोटाले मामले में वो अभी भी आरोपी हैं। वहीं ED के समन की अनदेखी को लेकर फिलहाल अगली सुनवाई 1 अप्रैल को होगी, जिसमें सीआरपीसी की धारा 207 (आरोपी को पुलिस रिपोर्ट और अन्य दस्तावेजों की प्रति की आपूर्ति) के तहत केजरीवाल की अर्जी पर सुनवाई करेगी।

क्या ED फिर केजरीवाल को समन भेज सकती है?

दिल्ली शराब घोटाले मामले में पूछताछ के लिए ED अब तक 8 बार केजरीवाल को समन भेज चुकी है। हर बार उन्होंने ईडी के समन को गैर संवैधानिक बताया और पेश नहीं हुए। ED ने इसके खिलाफ अदालत में दो बार याचिका दायर की। खास बात ये थी जब ये मामला कोर्ट में था, तब भी ईडी ने केजरीवाल को समन भेजे। वहीं आज की सुनवाई में भी अदालत ने ईडी को समन न भेजने जैसा कोई निर्देश नहीं दिया है। यानी आअऐसा हो सकता है कि जांच एजेंसी सीएम केजरीवाल को आगे भी समन भेजे।

ईडी अभी तक केजरीवाल को 8 समन जारी कर चुकी है

ईडी अभी तक केजरीवाल को 8 समन जारी कर चुकी है. दिल्ली की राउज़ एवेन्यू कोर्ट ने अरविंद केजरीवाल को समन जारी कर 16 मार्च को पेश होने को कहा था. ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग जांच में समन का पालन नहीं करने के लिए अरविंद केजरीवाल के खिलाफ मुकदमा चलाने का अनुरोध करते हुए अदालत में नई शिकायत दर्ज कराई थी.

क्या केजरीवाल को गिरफ्तार करेगी ED?

अभी तक ED द्वारा केजरीवाल की गिरफ्तारी को लेकर कोई बात नहीं की गई। आम आदमी पार्टी के नेता ही हमेशा ये दावा करते रहे कि ईडी उन्हें गिरफ्तार कर सकती है। उन्होंने ED पर केंद्र सरकार के लिए काम करने का आरोप भी लगाया। आज अदालत में भी सुनवाई के दौरान केजरीवाल के वकील ने पूछा कि ईडी बताए कि वो केजरीवाल को आरोपी मानकर समन भेज रही है या गवाह?

आम आदमी पार्टी के लीगल हेड संजीव नासियार ने कही ये बात

आम आदमी पार्टी के लीगल हेड संजीव नासियार ने बताया, “अदालत ने मुख्यमंत्री(अरविंद केजरीवाल) को तलब किया था. पिछली बार जब उन्होंने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से इसमें भाग लिया, तो जब उन्हें दोबारा निर्देशित किया गया तब उन्होंने कहा कि वह शारीरिक रूप से उपस्थित होंगे. वे आज पेश हुए और बेल बॉन्ड जमा किया. ज़मानत मंजूर हो गई. ED के समन के संबंध में हमारा रुख स्पष्ट है कि वे कानून के अनुरूप नहीं हैं और अवैध हैं. अब ये कोर्ट तय करेगी. हमें न्यायालय पर पूरा भरोसा है. अदालत जो भी निर्णय लेगी, हमारा निर्णय उसी के अनुरूप होगा.”

क्या अब ED के समन के समन पर पेश होंगे केजरीवाल?

आज अदालत में ED के समन की अनदेखी मामले में ही सुनवाई हुई, जिसमें फिलहाल सीएम केजरीवाल को राहत मिली है। यहां गौर करने की बात ये ही कि पिछली बार जब ED ने अदालत में याचिका दायर करने के बाद भी समन जारी किया था, तो केजरीवाल की तरफ से कहा गया कि ये मामला कोर्ट में है इसलिए वो ईडी के सामने पेश नहीं होंगे। ऐसे में अगर ईडी कोर्ट का फैसला आने से पहले 9वां समन जारी भी करती है, तो भी केजरीवाल मुश्किल ही पेश होंगे।

भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कही ये बात

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को राउज़ एवेन्यू कोर्ट द्वारा जमानत मिलने पर दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने कहा, “आज अरविंद केजरीवाल को न्यायालय में जाकर जमानत लेनी पड़ी और उनके जमानत लेने पर ये स्पष्ट हो गया कि वे जिन समनों को गैर-कानूनी बताते थे वो संवैधानिक थे. जांच एजेंसी के अगले समन पर आपको(अरविंद केजरीवाल) कोर्ट में आना पड़ेगा और सभी सवालों के जवाब देने पड़ेंगे.”

ED को गिरफ्तारी का अधिकार

CM केजरीवाल के बार-बार पेश नहीं होने पर ED उनके खिलाफ जमानती वारंट जारी कर सकती है। उसके बाद भी पेश नहीं हुए तो धारा 45 के तहत गैर जमानती वारंट जारी कर सकती है।प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (PMLA) के जानकार बताते हैं कि पेश नहीं हो पाने की ठोस वजह बताई जाती है तो ED समय दे सकती है। फिर दोबारा नोटिस जारी करती है। PMLA में नोटिस की बार-बार अवहेलना पर गिरफ्तारी हो सकती है।अगर CM केजरीवाल आगे भी पेश नहीं होते हैं तो जांच अधिकारी आवास पर जाकर पूछताछ कर सकते हैं। ठोस सबूत होने पर या सवालों के संतोषजनक जवाब नहीं मिलने पर उन्हें गिरफ्तार कर सकते हैं।वहीं, केजरीवाल वारंट जारी होने के बाद कोर्ट जा सकते हैं और अपने एडवोकेट की मौजूदगी में जांच में सहयोग करने का वादा कर सकते हैं। इस पर कोर्ट ED को उन्हें गिरफ्तार नहीं करने का निर्देश दे सकता है।

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