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राजनीति

हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव : हिमाचल प्रदेश में BJP, कांग्रेस और AAP के बीच कौन मारेगा बाजी? जाने ओपिनियन पोल क्या है


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नई दिल्लीः हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए तारीख की घोषणा हो चुकी है. ऐसे में राजनीतिक पार्टियां जोर-शोर से प्रचार-प्रसार में जुटी हैं. साथ ही जीत का दावा भी कर रही है. दिवाली की दस्तक के बीच हिमाचल प्रदेश में सियासी त्योहार भी पूरे रंग में है। पहाड़ी राज्य में विधानसभा चुनाव की तैयारियां जारी हैं। खास बात है कि यहां बीते तीन दशकों में सत्ता कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी के बीच बार-बार बदलती रही है, लेकिन इस बार मुकाबला अलग है।हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए तारीख की घोषणा हो चुकी है. ऐसे में राजनीतिक पार्टियां जोर-शोर से प्रचार-प्रसार में जुटी हैं. साथ ही जीत का दावा भी कर रही है. इस बीच एबीपी न्यूज के लिए सी-वोटर ने हिमाचल प्रदेश में साप्ताहिक ओपिनियन पोल किया है

ओपिनियन पोल के मुताबिक 54 प्रतिशत लोगों ने माना है कि हिमाचल प्रदेश चुनाव में पीएम मोदी एक बड़ा फैक्टर होंगे. वहीं 46 फीसदी लोगों ने कहा कि पीएम मोदी हिमाचल प्रदेश चुनाव में बड़ा फैक्टर नहीं होंगे. राज्य में सत्तारूढ़ भाजपा सत्ता में बने रहने की कोशिश कर रही है। हालांकि, उम्मीदवारों की घोषणा के बाद पार्टी नेताओं की बगावत का भी सामना कर रही है। इससे मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर का गृहजिला मंडी भी अछूता नहीं है।इसके अलावा कांग्रेस से आने वाले नेताओं को टिकट मिलने से भी पार्टी के पूर्व विधायक नाराज हैं। नलगढ़ सीट से कांग्रेस विधायक लखविंदर सिंह राणा को टिकट मिलने पर भाजपा के पूर्व विधायक केएल ठाकुर ने निर्दलीय नामांकन भरा है।

यहां पार्टी के मीडिया सह प्रभारी प्रवीण शर्मा ने टिकट नहीं मिलने के चलते मंडी सदर से निर्दलीय उतरने का फैसला किया है। कांग्रेस भी इससे अछूती नहीं है। पूर्व मंत्री करण सिंह के बेटे आदित्य विक्रम सिंह ने टिकट नहीं मिलने पर कांग्रेस छोड़ दी। अब भाजपा में शामिल होने पर अगर उनके कजिन हितेश्वर निर्दलीय चुनाव लड़ते हैं, तो वह अपने ही भाई के खिलाफ प्रचार करते नजर आएंगे। सर्वे में 49 प्रतिशत लोगों ने कहा कि बीजेपी के पास सबसे ज्यादा जीतने योग्य प्रत्याशी हैं. वहीं कांग्रेस के पास 45 प्रतिशत और आप के पास 6 प्रतिशत जीतने योग्य प्रत्याशी हैं.

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