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National Pizza Day 2024 : भारत कैसे आया पिज्जा,पसंदीदा फास्ट फूड ‘पिज्जा’ से जुड़े दिलचस्प किस्से


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नई दिल्लीः फास्ट फूड की बात हो रही हो और पिज़्ज़ा का नाम ना लिया जाए ऐसा हो ही नहीं सकता. यह सबसे पसंदीदा फास्ट फूड में से एक है, जिसे बच्चे से लेकर बड़ों तक खाना खूब पसंद करते हैं. दोस्तों को पार्टी देनी हो, बर्थडे सेलिब्रेट करना हो पिज़्ज़ा खिलाना सबसे अच्छा ऑप्शन लगता है, इसकी कई सारी वैराइटीज है, जिसे लोग खूब शौक से खाना पसंद करते हैं आज के वक्त में पिज़्ज़ा हर इंसान का खास व्यंजन बन चुका है.हर साल आज ही के दिन यानी के 9 फरवरी को नेशनल पिज़्ज़ा डे के रूप में सेलिब्रेट किया जाता है.

इंटरनेशनल फूड

खाने के लिए अगर आपको ऑप्शन दिए जाएं जैसे पनीर की सब्जी, दाल, रोटी, पास्ता या फिर पिज्जा? तो आप क्या खाना पसंद करेंगे? हम में से ज्यादा लोग बिना टाइम लगाए पिज्जा पर हामी भर देते हैं. यह ऐसी डिश है जिसे हर कोई पसंद करता है, अपनी पसंद की टॉपिंग के साथ इसको बनवाकर आराम से खाया जाता है. तो एक बात तो हम सब मानेंगे कि जब भी किसी सेलीब्रेशन का टाइम होता है या फिर कुछ बाहर खाने का ऑप्शन मिलता है तो हमारी पहली प्रिफरेंस पिज्जा ही होता है! जितने भी इंटरनेशनल फूड हमने आजमाए उनमें से पिज्जा सबसे ज्यादा पसंद किया गया है.इस दिन की शुरुआत 10th सेंचुरी में नेपल्स द्वारा की गई थी. इस दिन पिज़्ज़ा के अलग-अलग फ्लेवर और टेस्ट को सेलिब्रेट किया जाता है. आपको जानकर हैरानी होगी कि साल में सिर्फ एक ही दिन नहीं है जिस दिन पिज़्ज़ा को सेलिब्रेट करते हैं बल्कि और भी कई दिन है जैसे नेशनल पिपरोनी पिज़्ज़ा डे, नेशनल चीज पिज़्ज़ा डे, नेशनल डिश पिज़्ज़ा डे, वगैरा-वगैरा जैसे कई दिन है जब पिज्जा के स्वाद को सेलिब्रेट किया जाता है,

कैसे हुआ पिज़्ज़ा का अविष्कार

18 वीं सदी में पिज़्ज़ा का अविष्कार इटली के शहर में हुआ था, उन दिनों इसे बनाने के लिए खजूर सब्जियों और मीट के छोटे टुकड़े को एक बड़ी सपाट ब्रेड पर डालकर मिट्टी के ओवन में पकाया जाता था. जब इटली के राजा अंबर्टो फर्स्ट और क्वीन मार्गेरीटा नेपल्स के दौरे पर आए तो उन्होंने वहां के लोगों से कुछ ऐसा बनाने के लिए कहा जो खाने में एकदम नया हो, तब राफेल एस्पोजिटो को बुलाया गया जो उस जमाने में सबसे स्वादिष्ट पिज़्ज़ा बनाने के लिए मशहूर थे, उन्होंने क्वीन के लिए तीन पिज़्ज़ा तैयार किए.राफेल एस्पोसिटो के बनाए तीनों पिज़्ज़ा में क्वीन को टमाटर चीज और बहुत सारी टॉपिंग से तैयार किया हुआ पिज़्ज़ा खाने में बहुत ही टेस्टी लगा, जिसके बाद उन्होंने इसे मार्गेरीटा पिज़्ज़ा का नाम दे दिया. 19वीं सेंचुरी के आखिर तक पिज़्ज़ा स्पेन से लेकर इंग्लैंड, फ्रांस और अमेरिका में भी खूब चलने लगा. 1905 में न्यूयार्क सिटी में पिज़्ज़ा सर्व करने वाला पहला रेस्टोरेंट लंबार्डी में शुरू हुआ. साल 1960 के आखिर में दो भाइयों जिनका नाम टॉम और जेम्स था उन्होंने डोमिनिक्स नाम की पिज़्ज़ा फास्ट होम डिलीवरी सर्विस शुरू की, जिसका नाम 1965 में डोमिनिक्स से बदलकर डोमिनोस कर दिया गया, जो अब एक जाना पहचाना नाम बन चुका है, आज सेल्स के मामले में यह दुनिया की नंबर वन पिज़्ज़ा चेन है, जिसके 16000 स्टार्स है.

भारत में कब आया पिज़्ज़ा

पिज़्ज़ा पहले यूनान, इटली अमेरिका में पहुंचा और इन सभी देशों से सफर करते हुए 1996 में भारत पहुंचा. 18 जून वो दिन था जब पिज़्ज़ा को इंडिया लाया गया. पिज़्ज़ा मार्केट की दूसरी प्रसिद्ध कंपनी पिज़्ज़ा हट ही वो कंपनी है जिसने पहली बार भारतीय लोगों को पिज़्ज़ा के स्वाद से रूबरू कराया.कंपनी ने इंडिया में अपना पहला आउटलेट बेंगलुरु में खोला था. वहीं डोमिनोस पिज़्ज़ा का पहला आउटलेट 1996 में ही दिल्ली में खुला था, हालांकि 2009 में कंपनी का नाम बदलकर जूबिलेंट फूड वर्क्स लिमिटेड कर लिया. अब यही कंपनी डोमिनोज पिज़्ज़ा भारत में बनाती है. भारत में लगभग डोमिनोस के 1000 से ज्यादा रेस्टोरेंट है.

भारत में कौन लाया पिज्जा?

भारत में आने से पहले पिज्जा यूनान, इटली, अमेरिका जैसे देशों में खूब लोकप्रिय हो चुका था। भारत में पहला पिज्जा 18 जून 1996 में आया था। इसे भारत लाने और भारतीयों को पिज्जा का पहला स्वाद चखाने का श्रेय दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी पिज्जा कंपनी Pizza Hut को जाता है। जी हां, Domino’s से भी पहले Pizza Hut ने अपना पहला आउटलेट बैंगलोर में खोला था।साल 1995 में Domino’s इंडिया प्राइवेट लिमिटेड ने फ्रेंचाइजी ली थी। 1996 में Domino’s ने अपना पहला आउटलेट राजधानी दिल्ली में खोला था। लेकिन 2009 में कंपनी ने अपना नाम बदलकर जुबिलेंट फूडवर्क्स लिमिटेड कंपनी कर लिया। अब यही कंपनी Domino’s पिज्जा भारत में बनाती है।

पसंदीदा फास्ट फूड ‘पिज्जा’ से जुड़े दिलचस्प किस्से

  • आधुनिक पिज्जा को सबसे पहले 1889 में इटली के नेपल्स में रॉफेल एस्पिओसिटो ने बनाया था। इसे उन्होंने इटली के झंडे से प्रेरित होकर लाल टमाटर, सफेद मोजरेला पिज्जा और हरे रंग की तुलसी का इस्तेमाल कर बनाया था।
  • किंग अम्बरटो प्रथम और क्वीन मार्गरिटा नेपल्स के लिए इसे बनाया गया था। क्वीन को यह बहुत पसंद आया था इसलिए इसे मार्गरिटा पिज्जा के नाम से जाना जाता है।
  • 18वीं सदी में इटली के तीसरे सबसे बड़े शहर नेपल्स में गरीब यीस्ट से बनी फ्लैट ब्रेट पर टमैटो सॉस लगाकर खाते थे। यहीं उस जमाने में पिज्जा हुआ करती थी। इसे स्टोर में नहीं बल्कि ठेले पर बेचा जाता था और गरीबों में यह खूब लोकप्रिय भी थी।
  • पिज्जा का स्वाद बढ़ाने के लिए बाद में इसमें कैप्सिकम और बेलपेपर (शिमला मिर्च), मशरुम आदि डाले जाने लगे, जिसने इसे महंगा बना दिया। अमेरिका में पिज्जा इटली से आए प्रवासियों के साथ आया और 1905 में न्यूयॉर्क में पिज्जा की पहली दुकान खुली।

वर्ल्ड पिज्जा डे

9 फरवरी को ‘वर्ल्ड पिज्जा डे’ सेलिब्रेट किया जाता है। पिज्जा की कहानी सदियों पुरानी है। वैलेंटाइन वीक के तीसरे दिन आज जानते हैं पिज्जा के स्वाद का पिज्जा प्रेमियों के साथ रोमांटिक सफर।पिज्जा बेस भी वक्त के साथ धीरे धीरे बदला, मोटापे को ध्यान में रखकर पिज्जा बेस यानी पिज्जा रोटी कहीं मोटी तंदूरी रोटी-सा लगती तो कहीं थिन क्रस्ट पिज्जा की डिमांड आने लगीकुछ का स्वाद यहां भी नहीं थमा और चीज बर्स्ट पिज्जा यानी चीज से सराबोर पिज्जा की डिमांड आने लगी। पिज्जा की जन्मभूमि इटली ही क्यों ना हो, लेकिन खानपान और स्वाद के मामले में पिज्जा ने हर देश के नागरिक के दिल और जुबान पर जगह बनाई और पिज्जा बन बैठा इंटरनेशनल स्वाद का शहंशाह।

गरीबों की प्लेट में दिखता था पिज्जा

फूड इतिहासकार मानते हैं कि पर्शिया (ईरान) के सैनिक सपाट ब्रेड पर चीज और खजूर रखकर खाते थे। धीरे-धीरे यह ब्रेड ग्रीस पहुंची, जहां इसे ‘पिट्‌टा’ नाम दिया गया।7 हजार साल पहले इटली के सार्डिनिया में लोग पिज्जा जैसी रोटी खाया करते थे। लेकिन मॉडर्न पिज्जा का जन्म 223 साल पहले इटली के नेपल्स में हुआ। यह गरीबों के बीच सबसे पॉपुलर स्ट्रीट फूड था क्योंकि यह बेहद सस्ता बिकता।इस ‘फ्लैट ब्रेड’ पर लहसुन, नमक, मीट और चीज की टॉपिंग या केवल टमाटर की चटनी डाली जाती थी।पिज्जा के ठेलों पर हमेशा भीड़ लगी रहती। आज इंडिया में भी पिज्जा बड़े बड़े रेस्तरां से निकलकर बर्गर की तरह ठेलों पर बिकने लगा है और यही पिज्जी के पॉपुलर होने की निशानी।

इटली की महारानी ने चखा तो बन गया रॉयल फूड

इटली की महारानी मार्गेरिटा रोज-रोज फ्रेंच खाना खाते-खाते बोर गईं। उस जमाने में यूरोप के राजघरानों में फ्रेंच फूड ही रॉयल फूड कहलाता था।ऐसे में अपनी पत्नी को खुश करने के लिए राजा एम्बर्टो ने महारानी के साथ 1889 में नेपल्स का दौरा किया। उनके सम्मान में नेपल्स के पिज्जा मेकर और शेफ रफ्फाएले एस्पोसिटो (Raffaele Esposito) ने महारानी के लिए 3 अलग-अलग तरह के पिज्जा बेक किए।महारानी ने टमाटर, बेसिल (तुलसी) और मोजरेला चीज वाला पिज्जा खाना पसंद किया। बाद में यह ‘मार्गेरिटा’ पिज्जा के नाम से मशहूर हो गया। इस पिज्जा के आज भी लाखों लोग दीवाने हैं।

अमेरिका ने बनाया पिज्जा को मशहूर

पिज्जा भले ही इटली में बेक हुआ हो, लेकिन दुनियाभर के घरों में पिज्जा पहुंचाने में अमेरिका का हाथ है। 19वीं शताब्दी में जब नेपल्स से कुछ लोग अमेरिका पहुंचे तो अपने साथ पिज्जा की रेसिपी भी ले गए। 1905 में न्यूयॉर्क में पहला लॉबार्डीज (Lombardi’s) नाम से पिज्जा आउटलेट खुला। इसके बाद पिज्जा की पॉपुलैरिटी ऐसी बढ़ी की यह धीरे-धीरे दुनियाभर में मशहूर होने लगा।

भारत पहुंच पिज्जा ने लिया देसी अवतार

भारत को अंग्रेजी में ‘लैंड ऑफ चपाती’ कहा जाता है। भारतीयों की खुराक में रोटी अहम है। पिज्जा भले ही इटैलियन है लेकिन भारतीय रोटी से काफी-मिलता जुलता है। फूड एक्सपर्ट मानते हैं कि इंडिया में पिज्जा की पॉपुलैरिटी इस वजह से ज्यादा हुई क्योंकि यह दिखने में सभी को अपना-सा लगा।यह भी एक कारण है कि भारतीयों ने पिज्जा को अपने स्वाद के हिसाब से बदल लिया।

इटैलियन पिज्जा सबसे जुदा

इंडिया में पिज्जा भले ही भारतीयों के टेस्ट के हिसाब से मसालेदार और तीखा बनाया जाता है लेकिन इटली में बनने वाला ऑरिजनल पिज्जा बहुत अलग है। शेफ रांची गुप्ता कहती हैं कि इटली में बनने वाला पिज्जा भारत की तरह मोटे बेस का नहीं होता।वहां थिन बेस को फ्रेश यीस्ट (खमीर) से बनाया जाता है और हाथों की मदद से गोल आकार दिया जाता है।इटली में पिज्जा सॉस सैन मार्जानो (San Marzano) नाम के इटैलियन टमाटर से बनाई जाता है। यह टमाटर आचार डालने वाली मोटी लाल मिर्च की तरह लंबे और मोटे होते हैं। इनमें गूदा ज्यादा और बीज ना के बराबर होते हैं। वहां बिना सॉस के भी पिज्जा बिकता है जिसे बिआन्का (bianca) कहते हैं। बिआन्का में केवल ऑलिव ऑयल लगाया जाता है।यही नहीं, इटैलियन पिज्जा की टॉपिंग भी उसे अलग बनाती है। इस पिज्जा पर बैंगन (एग प्लांट), आर्टिचोक, चुकंदर, कद्दू, सॉल्टी केपर्स (जैतून जैसा फल जो नमकीन होता है) और ट्रफल (रूद्रांश की तरह दिखने वाली मशरूम) की टॉपिंग भी मिलती है।

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