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भारतीय नौसेना ने ब्रह्मोस मिसाइल के उन्नत संस्करण का सफलतापूर्वक परीक्षण किया


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विशाखापत्तनम: भारत के इस सफल परीक्षण को आत्मनिर्भर भारत मिशन की सफलता के लिए मील का पत्थर माना जा रहा है। परीक्षण के दौरान मिसाइल लक्ष्य पर हमला करने में सफल रही है। यह ब्रह्मोस मिसाइल का एडवांस वर्जन है। जिसमें कई अपडेट किए गए हैं। अपडेट के बाद से उसकी मारने की क्षमता काफी बढ़ गई है। भारत के इस सफल परीक्षण को आत्मनिर्भर भारत मिशन की सफलता के लिए मील का पत्थर माना जा रहा है।

ब्रह्मोस मिसाइल के समुद्री संस्करण आईएनएस विशाखापत्तनम के साथ मिलकर दुश्मन की नींद उड़ा देंगे। समुद्र से प्रक्षेपित होने वाली ब्रह्मोस मिसाइल के चार प्रकार हैं। पहला एक जहाज-रोधी संस्करण है जिस पर युद्धपोत से हमला किया जा सकता है, दूसरा एक भूमि हमला संस्करण है जिस पर युद्धपोत से हमला किया जा सकता है। ये दोनों वैरिएंट पहले से ही भारतीय नौसेना में काम कर रहे हैं। तीसरा पनडुब्बी का एंटी-शिप वेरिएंट है और चौथा पनडुब्बी से लैंड अटैक वेरिएंट है।

नौसेना ने लॉन्च किए 8 मिसाइल लांचर: भारतीय नौसेना ने राजपूत श्रेणी के विध्वंसक आईएनएस रणविजय और आईएनएस रणवीर में 8 ब्रह्मोस मिसाइल लांचर स्थापित किए हैं। तलवार वर्ग के युद्धपोत आईएनएस तारकश, आईएनएस तेग और आईएनएस त्रिकंद ने 8 मिसाइल लांचर लॉन्च किए हैं। शिवालिक श्रेणी के युद्धपोत भी ब्रह्मोस मिसाइलों से सुसज्जित हैं। उन्हें कोलकाता क्लास डिस्ट्रॉय में भी तैनात किया गया है। आईएनएस विशाखापत्तनम में भी इसका सफल परीक्षण किया गया है।

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