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Nuh Violence: हरियाणा के नूंह में फैली हिंसा,सामने आया हिंसा का कारण


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नई दिल्ली –हरियाणा के चार अलग-अलग जिलों में फैल गया है. मेवात के नूंह में जहां अर्ध सैनिकों की तैनाती हुई है, वहीं साथ लगते जिलों में पुलिस की सख्ती है. मंगलवार को तनाव शांत करने के लिए कई जगहों पर भारी सुरक्षा बल तैनात किया गया है.

नूंह में हिंसा की बड़ी वजह पर्याप्त संख्या में पुलिस बल का तैनात नहीं होना और इंटेल इनपुट को नजरअंदाज करना है। इसके अलावा लोगों के भीतर गो रक्षकों को लेकर गुस्सा था, जिसकी वजह से यहां हिंसा भड़की।नूंह के डिस्ट्रिक्ट इंस्पेक्टर विश्वजीत ने बताया कि हमारे विभाग की ओर से आधिकारिक चेतावनी जारी की गई थी। हमने इनपुट दिया था कि बृज मंडल यात्रा के दौरान मुस्लिम बाहुल्य इलाके से जब यह यात्रा गुरजरेगी तो तनाव बढ़ सकता है।

हरियाणा गुरुग्राम से नूंह के बीच सोमवार को बृज मंडल जलाभिषेक यात्रा निकाली गई। जिसकी अगवाई विश्व हिंदू परिषद और बजरंगदल ने की। इस धार्मिक यात्रा में हजारों लोगों की भीड़ शामिल हुई। हरियाणा के कई जिलों से लोग इसमें शामिल होने के लिए पहुंचे थे. गुरुग्राम से शुरू हुई इस यात्रा को भारतीय जनता पार्टी की गुरुग्राम की जिला अध्यक्ष गार्गी कक्कड़ ने गुरुग्राम के सिविल लाइंस इलाके से हरी झंडी दिखाई थी. जुलूस के साथ एहतियात पुलिस की एक टुकड़ी भी तैनात गई थी।

इस पूरे मामले में विवाद तब शुरू हुआ जब गौरक्षा दल के सदस्य मोनू मानेसर की एंट्री हुई. मोनू मानेसर ने सोशल मीडिया पर दावा किया कि वो इस यात्रा में शामिल होगा। मोनू मानेसर पर नासिर-जुनैद की मौत के मामले में हत्या का मामला दर्ज है और वो अभी फरार चल रहा है। मोनू मानेसर के दावे के बाद नूंह में दूसरे समुदाय के लोगों ने इस यात्रा का विरोध किया और उन्होंने भी सोशल मीडिया के जरिए ही चेतावनी भी दी की मोनू मानेसर अगर मेवात के नूंह में आया तो वापस नहीं जाने देंगे। इन सबके बीच मोनू मानेसर ने सोशल मीडिया के जरिए दावा किया कि “वादा किया है तो आना पड़ेगा, स्वागत नहीं करोगे”….और इस पोस्ट के बाद नूंह में मुस्लिम समुदाय के लोगों का गुस्सा सातवें आसमान पर जा पहुंचा और अफवाह फ़ैल गई कि इस शोभा यात्रा में मोनू मानेसर शामिल है।

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