नई दिल्ली – पेंटागन (Pentagon) ने चीन (China) के सैन्य आधुनिकीकरण पर अपनी एक प्रमुख रिपोर्ट में कहा है कि चीन, भारत के साथ लगती वास्तविक नियंत्रण रेखा (LAC) पर अपने दावे को लेकर दबाव बनाने के लिए ‘सतत रणनीतिक कार्रवाई’ कर रहा है और उसने गतिरोध के दौरान और उसके बाद भी भारत को अमेरिका के साथ संबंधों को मजबूत करने से रोकने की असफल कोशिश की है.
पेंटागन की यह रिपोर्ट ताइवान को लेकर अमेरिका और चीन के बीच भारी तनाव के बीच आई है और ज्वाइंट चीफ्स ऑफ स्टाफ के अध्यक्ष, अमेरिकी जनरल मार्क मिले की ओर से चीन की सैन्य प्रगति के संबंध में कड़ी चेतावनी जारी होने के कुछ घंटों बाद प्रकाशित हुई है. पेंटागन ने चीन को अमेरिका के लिए ‘बढ़ती चुनौती’ बताया. रक्षा विभाग ने बुधवार को अमेरिकी कांग्रेस को बताया, ‘पीआरसी (पीपुल्स रिपब्लिक ऑफ चाइना) नहीं चाहता कि सीमा विवाद के चलते भारत और अमेरिका और निकट आएं. पीआरसी अधिकारियों ने अमेरिकी अधिकारियों को भारत के साथ पीआरसी के संबंधों में हस्तक्षेप नहीं करने की चेतावनी दी है.’
पेंटागन पूर्वी लद्दाख में भारत-चीन सैन्य गतिरोध पर नियमित रूप से कांग्रेस को अवगत कराता है. रक्षा विभाग ने स्पष्ट रूप से कहा है कि चीन अपने पड़ोसियों, विशेष रूप से भारत के साथ आक्रामक और प्रतिरोधी व्यवहार करता है. पेंटागन ने कहा कि चीनी अधिकारियों ने आधिकारिक बयानों और मीडिया के जरिए आरोप लगाया कि भारत इस क्षेत्र में अमेरिकी नीति का एक ‘हथियार’ मात्र है. साथ ही उन्होंने गतिरोध के दौरान और बाद में इस बात की पूरी कोशिश की कि भारत के अमेरिका के साथ संबंध प्रगाढ़ नहीं हों.
पेंटागन ने कहा कि सीमा पर तनाव कम करने के लिए चल रही राजनयिक और सैन्य वार्ता के बावजूद, चीन ने एलएसी पर अपने दावों को लेकर दबाव बनाने के लिए ‘ रणनीतिक कार्रवाई को बढ़ाना’ जारी रखा है.