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पाकिस्तान में ईद मिलाद-उन-नबी के अवसर पर दो जगहों पर हुआ भीषण बम धमाका


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नई दिल्लीः पाकिस्तान में ईद मिलाद-उन-नबी के अवसर पर हुए बम धमाके में 34 लोगों की मौत हो गई है। वहीं 70 से अधिक लोग इस घटना में घायल हो गए हैं। यह धमाका पाकिस्तान के ब्लूचिस्तान प्रांत में हुआ है। मरनेवालों में पुलिस के लोग भी शामिल हैं। न्यूज एजेंसी एएनआई ने पाकिस्तानी मीडिया जियो न्यूज के हवाले से बताया कि इस धमाके में 34 लोगों की मौत हो गई है। यह धमाका शुक्रवार को मस्तुंग में अल फलाह रोड पर स्थित मदीना मस्जिद के पास देखने को मिली। धमाके से पहले लोग लोग ईद मिलाद-उन नबी के मौके पर जुलूस में हिस्सा लेने के लिए एक जगह पर इकट्ठा हो रहे थे। बता दें कि इस धमाके में मरने वाले और घायलों की संख्या बढ़ सकती है। हालांकि अबतक किसी आतंकी संगठन ने इस हमले की जिम्मेदारी नहीं ली है।पाकिस्तान में शुक्रवार को 2 जगहों पर 2 ब्लास्ट हुए। पहला धमाका बलूचिस्तान के मस्तुंग शहर में एक मस्जिद के पास हुआ। ये आत्मघाती हमला था। इसमें एक DSP समेत 52 लोगों की मौत हो गई, जबकि 50 लोग घायल हुए हैं। हमले के वक्त लोग ईद-ए-मिलाद-उन-नबी के जुलूस के लिए इकट्ठा हो रहे थे।

पख्तूनख्वा के हंगू शहर में एक के बाद एक दो धमाके

पाकिस्तान में अभी इस धमाके की गूंज शांत भी नहीं हुई थी कि खैबर पख्तूनख्वा के हंगू शहर में एक के बाद एक दो धमाके किए गए. पहला धमाका एक मस्जिद में किया गया जबकि दूसरा एक पुलिस स्टेशन में हुआ. इस हमले में अब तक 4 लोगों के मारे जाने की पुष्टि हो चुकी है. बताया जा रहा है कि धमाका इतना जोरदार था कि पूरी मस्जिद ही ढह गई. मस्जिद के मलबे में अभी भी 30 से 40 लोग दबे हुए हैं. अब तक 12 लोगों का रेस्क्यू किया जा चुका है.

खैबर पख्तूनख्वा के पुलिस अधिकारियों ने कहा

पहले खबर थी कि हंगू शहर में दो धमाके हुए। एक पुलिस स्टेशन के बाहर और एक मस्जिद के अंदर। अब पुलिस अधिकारियों ने जानकारी दी है कि पुलिस स्टेशन के बाहर धमाका नहीं हुआ। वहां पुलिस अफसरों ने धमाके से पहले ही स्टेशन के अंदर घुस रहे एक आतंकी को मार गिराया।खैबर पख्तूनख्वा के पुलिस अधिकारियों ने कहा- दो आतंकी पुलिस स्टेशन में घुसने की कोशिश कर रहे थे। एक को हमने मार गिराया और दूसरा फरार हो गया। भागने वाला ये आतंकी सुसाइड बॉम्बर था, जिसने पास की मस्जिद में हमला कर दिया।

तहरीक-ए-तालिबान ने हमले से किया इनकार

बलूचिस्तान के आतंकी संगठन तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान यानी TTP ने पाकिस्तान में हुए आतंकी हमले में किसी भी तरह का हाथ होने से इनकार कर दिया है. लगातार हुए तीन धमाकों के बाद पूरे पाकिस्तान में ईद-ए-मिलाद को देखते हुए सुरक्षा बढ़ा दी गई है. हमले के बाद बलूचिस्तान के चीफ मिनिस्टर ने पूरे प्रांत में 3 दिन के शोक का ऐलान किया है.

बलूचिस्तान धमाके में घायल लोगों का इलाज करवाएगी सरकार

पहला धमाका बलूचिस्तान के मस्तुंग शहर में हुआ। यहां के असिस्टेंट कमिश्नर ने बताया कि ब्लास्ट DSP नवाज गिशकोरी की कार के पास हुआ। जियो न्यूज के मुताबिक, हमले में जिस पुलिस ऑफिसर की मौत हुई है वो DSP नवाज ही हैं।बलूचिस्तान के कार्यवाहक सूचना मंत्री जन अचकजई ने बताया कि सभी घायलों को अस्पताल भेजा गया है। जरूरत पड़ी तो उन्हें कराची शिफ्ट किया जाएगा। घायलों के इलाज की पूरी जिम्मेदारी सरकार उठाएगी।

बलूचिस्तान में 3 दिन का शोक

बलूचिस्तान के चीफ मिनिस्टर ने पूरे प्रांत में 3 दिन के शोक का ऐलान किया है। बलूचिस्तान में एक्टिव आतंकी संगठन तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान यानी TTP ने कहा है कि इस विस्फोट के पीछे उनका हाथ नहीं है। उन्होंने इस हमले की निंदा की है। हमारा मकसद साफ है कि हम मस्जिद और पब्लिक गैदरिंग को निशाना नहीं बनाते हैं

विदेशी ताकतों की मदद से कराए जा रहे धमाके

सूचना मंत्री बोले- विदेशी ताकतों की मदद से बलूचिस्तान में शांति भंग कर रहे दुश्मन
बलूचिस्तान के कार्यवाहक सूचना मंत्री जन अचकजई ने कहा- हमारे दुश्मन विदेशी ताकतों की मदद से बलूचिस्तान में धार्मिक जगहों को निशाना बनाकर शांति भंग करना चाहते हैं। इस तरह के हमले बर्दाश्त नहीं किए जाएंगे। बलूचिस्तान में सरकार के मंत्रियों और दूसरे कई नेताओं ने हमले की निंदा की है। बलूचिस्तान में धार्मिक जगहों को जानबूझकर निशाना बनाया जा रहा है. इस तरह के हमले बर्दाश्त नहीं किए जाएंगे. बलूचिस्तान के मंत्रियों और नेताओं ने हमले की निंदा की है.

पाकिस्तान के PM, राष्ट्रपति ने हमले की निंदा की

पाकिस्तान के केयरटेकर प्रधानमंत्री अनवार-उल-हक काकड़ ने भी मस्जिद के पास हुए हमले की निंदा की है। काकड़ ने मरने वालों के परिजन के प्रति संवेदनाएं व्यक्त की हैं। साथ ही उन्होंने अधिकारियों को घायलों को हरसंभव मदद पहुंचाने का आदेश दिया है। राष्ट्रपति आरिफ अल्वी ने दुख जताया है।

कल TTP के हमले में मारे गए थे 4 सैनिक

28 सितंबर को पाकिस्तानी सैनिकों और तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (TTP) के आतंकियों के बीच झड़प हो गई थी। आज इंटर-सर्विसेज पब्लिक रिलेशंस (ISPR) ने बयान जारी करते हुए कहा कि झड़प में 4 सैनिकों की मौत हुई। आतंकी अफगानिस्तान से पाकिस्तान में घुसपैठ की कोशिश कर रहे थे।

इस हमले को किसने दिया अंजाम

इस हमले के पीछे कौन है या इस हमलो को क्यों अंजाम दिया गया, अबतक इस बाबत कोई जानकारी सामने नहीं आई है। हालांकि जियो न्यूज के मुताबिक 20 लोगों की मौत हुई है और दर्जन भर से अधिक लोग घायल हो गए हैं। वहीं आशंका जताई जा रही है कि मरने वालों की संख्या में वृद्धि हो सकती है। बता दें कि यह पहली बार नहीं है जब पाकिस्तान में बम धमाका हुआ है। इससे पहले भी कई बार पाकिस्तान में मस्जिदों और वहां नमाज पढ़ने आए लोगों को निशाना बनाया जा चुका है।

पहले भी होते रहे हैं ब्लास्ट

बता दें कि इससे पहले पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत से बम धमाके की खबर आई थी। यहां बाजौर में बम धमाके में 50 से अधिक लोग घायल हो गए थे। वहीं इस धमाके में 35 लोगों की मौत हो गई थी। यह धमाका उलेमा-ए-इस्लाम-फजन के कार्यकर्ता सम्मेलन में हुआ था। इस विस्फोट के बाद भारी संख्या में घायलों को अस्पताल में भर्ती कराया गया था। वहीं इससे भी पहले पुलिस हेडक्वार्टर पर आतंकियों द्वारा हमला किया गया था। इस दौरान आतंकी पुलिस हेडक्वार्टर में भारी मात्रा में गोला-बारूद लेकर घुस गए थे, जिससे निपटने के लिए पाकिस्तान रेंजर्स के जवानों को बुलाना पड़ा था।

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