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Alok Nath Birthday : रोमांटिक हीरो से संस्कारी बाबूजी कैसे बने आलोक नाथ?-जानें


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मुंबई – : सिनेमा की दुनिया में उनका सफर ‘गांधी’ से शुरू हुआ. उसके बाद वह रोमांटिक हीरो के किरदार में नजर आए तो कई बार विलेन भी बने, बात हो रही है आलोक नाथ की, जिनका जन्म 10 जुलाई 1956 के दिन बिहार के खगरिया में हुआ थाएक जमाने में उन्होंने रोमांटिक हीरो के किरदार निभाए, लेकिन एक बार पर्दे पर पिता बने तो छवि ही संस्कारी बाबूजी की बन गई.आलोक नाथ जिनका आज बर्थडे है. 1982 में आई फिल्म ‘गांधी’ से अपने करियर की शुरूआत की. फिल्म में आलोक नाथ को उनकी एक्टिंग के लिए खूब तारीफें मिलीं और इसके बाद वह एक-एक कर कई फिल्मों में नजर आए. सारांश से लेकर मशाल जैसी फिल्मों में नजर आए आलोक नाथ की मनोरंजन जगत में जर्नी काफी शानदार रही.

मूलरूप से बिहार से ताल्लुक रखने वाले आलोक नाथ का शुरुआती जीवन दिल्ली में बीता. दरअसल, उनके पिता डॉक्टर थे और वह चाहते थे कि आलोक भी डॉक्टर बनें. स्कूल और कॉलेज की पढ़ाई के दौरान आलोक की रुचि अभिनय की तरफ होने लगी. ऐसे में उन्होंने कॉलेज का रुचिका थिएटर ग्रुप जॉइन कर लिया. वहीं, तीन साल तक नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा में पढ़ाई करके अभिनय के गुर सीखे.आलोक नाथ को खास पहचान मिली फिल्मों में बाबू जी का रोल निभाकर, जिसके बाद वह घर-घर में अपने नाम से कम और ‘बाबूजी’ के नाम से ज्यादा फेमस हो गए. आलोक नाथ ने अपने फिल्मी करियर के दौरान आपके हैं कौन, मैंने प्यार क्यों किया, हम साथ-साथ हैं सहित कई फिल्मों में संस्कारी पिता का किरदार निभाया.

जिसके चलते कई लोग उन्हें ‘संस्कारी पिताजी’ के नाम से भी बुलाते हैं. फिल्मों ही नहीं कई सीरियल्स में भी आलोक नाथ पिता का रोल निभा चुके हैं.. 1987 में रिलीज हुई फिल्म ‘कामाग्नि’ में आलोक नाथ ने काफी बोल्ड सीन दिए थे. इसके अलावा कई फिल्मों में उन्होंने विलेन के किरदार भी निभाए. कुछ समय पहले चले साल 2018 में #MeToo कैंपेन की आंच आलोक नाथ तक भी पहुंची थी. उस दौरान एक महिला प्रॉड्यूसर ने उन पर उत्पीड़न करने का आरोप लगाया था. कहा जाता है कि ऐसे कई मामले सामने आ चुके हैं, जब शराब के नशे में आलोक नाथ ने खुद पर से नियंत्रण खो दिया था.

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