x
विज्ञान

कौन थे धरती पर आने वाले पहले जीव,क्यों चले गए वापस


सरकारी योजना के लिए जुड़े Join Now
खबरें Telegram पर पाने के लिए जुड़े Join Now

मुंबई – हम इंसान भी इन्हीं के वंशज हैं. एक जीवाश्म के विश्लेषण (Analysis of Fossils) में विशेषज्ञों ने पाया है कि जो जीव सबसे पहले समुद्र से धरती पर रहने के लिए आए थे वे महासागर में रहने के लिए वापस चले गए थे. यह शोध जीवों के पानी से धरती पर आने की प्रक्रिया के बारे में 36 करोड़ साल पहले पृथ्वी पर जीवन के वातावारण के बारे अहम जानकारी देने वाला साबित हो सकता है. करीब 36.5 करोड़ साल पहले मछलियों (Fish) का एक समूह ने पानी को छोड़ कर जमीन की ओर रुख किया था. इन टेट्रापोड्स (Tetrapods) जानवरों के वशंजों में हजारों प्रजातियां निकली थी जिनमें, उभयचर, पक्षी, छिपकली, और स्तनपायी जीव तक शामिल हैं.

स्टीवर्ट को मार्च 2020 में जस्टिन लैमबर्ग के साथ 2004 में कनाडा केआर्कटिक में यह जीवाश्म मिला था जो एक चट्टान में छिपा हुआ था उस समय उसका जबड़ा साफ तौर से दिखाई दे रहा थे. शरीर की आकृति के दिखाई दे रहे संकतों से ही पता चल रहा था कि वह शुरुआती टेट्रापॉड जीव ही होगा.

इस जीवाश्म के अध्ययन से पाया है कि कम से कम एक मछली ने तो ऐसा ही किया था जो अपने मीनपंख का काफी उपयोग करती थी जिसे धरती के आने के बाद अहसास हुआ कि उसके मीनपंख तैरने के लिए ही ज्यादा बेहतर हैं. कनवर्सेशन में प्रकाशित लेख में पेन स्टेट में बायोलॉजी के एसिस्टेंट प्रोफेसर थॉमस स्टीवर्ट अपनी पड़ताल की कहानी बताई है.

मीनपंख यह बता सकता है कि टेट्रोपॉड्स कैसे विकसित हुए थे. वे करोड़ों साल पहले कैसे रहा करते थे. मिसाल के तौर पर उनके हड्डी के ढांचे की कुछ हड्डी के आकार के आधार यह भी पता चल सकता है कि क्या ये जानवर तैरते थे या फिर जमीन पर चल भी लेते थे. शोधकर्ताओं को पहले सीटी स्कैन से ज्यादा जानकारी नहीं मिली थी.

शोधकर्तों ने पत्थर के कुछ हिस्से में कांट छांट की जिससे वे इस मीनपंख के बारे बेहतर जानकारी मिल सके. इसके बाद आंकड़ों का विशलेषण करने पर शोधकर्ताओं को पता चला कि उन्होंने एक नई प्रजाति का जीव खोजा है जो हमारे सबसे नजदीकी हाथपैर वाले रीढ़धारी संबंधी थे. इस जीव के किककिकटानिया वाकेई (Qikiqtania wakei) नाम दिया है. जब करोड़ों साल पहले यह मछली जिंदा थी, उस समय के गर्म वातावरण में नदी नाले हुआ करते थे और यह पानी के अंदर ही रहने वाली जीव थी. इसी संवेदी नलिकाएं आसपास के पानी के बहाव को पहचान लेती थी. इस शिकारी जीव का आकार बहुत ही अजीब सा हुआ करता था.

Back to top button