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चीन की हाइपरसोनिक मिसाइल से अमेरिका पर मंडरा रहा है परमाणु हमला होने का खतरा


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नई दिल्ली – चीन के सफलतापूर्वक मिसाइल परीक्षण को लेकर अमेरिका में हलचल तेज हो गई है। जिससे फ़िलहाल अमेरिका की मुश्किलें बढ़ सकती है। इस मिसाइल की बात को लेकर अमेरिकी सेना में दूसरे उच्चतम पद के अधिकारी ने चीन की ओर से जुलाई में किए गए हाइपरसोनिक हथियार के परीक्षण की नई जानकारी साझा की है।

अधिकारी से मिली जानकारी के अनुसार इस हाइपरसोनिक मिसाइल ने आवाज की गति से पांच गुना अधिक रफ्तार से दुनिया का चक्कर लगाया था। इसके साथ ही उन्होंने यह चेतावनी भी दी है चीन अमेरिका पर कभी भी अचानक परमाणु हमला कर सकता है। जनरल जॉन हाइटेन ने 27 जुलाई को हुए चीन के हाइपरसोनिक हथियार परीक्षण पर बात करते हुए कहा कि उन्होंने एक लंबी रेंज की मिसाइल लॉन्च की थी। चीन अपनी युद्ध क्षमताओं में लगातार इजाफा कर रहा है। वह मिसाइल रखने के लिए नए सिलो बना रहा है और एक दिन वह अपनी क्षमताओं को इतना बढ़ाने में सक्षम हो सकता है कि अमेरिका पर अचानक परमाणु हमला कर सके।

हायटेन ने आगे बताते हुए कहा कि पिछले पांच वर्षों में चीन ने सैकड़ों हाइपरसोनिक परीक्षण किए है जबकि अमेरिका ने महज नौ परीक्षण किए है। चीन ने एक मध्यम रेंज का हाइपरसोनिक हथियार तैनात कर रखा है जबकि अमेरिका को अभी ऐसा करने में कुछ वर्ष लगेंगे। चीन ने 18 अक्टूबर को परीक्षण की पुष्टि की और इसे तवज्जो नहीं दिए जाने का प्रयास किया।

सूत्रों से मी जानकारी के अनुसार चीन की यह मिसाइल कुछ किलोमीटर से अपने निशाने को बेधने में चूक गई लेकिन यह पहली बार हुआ है जब किसी देश ने एक हाइपरसोनिक हथियार भेजा है जिसने पूरी धरती का चक्कर लगाया हो। वहीं, चीन ने साफ इनकार किया है कि उसने कोई हाइपरसोनिक मिसाइल परीक्षण किया है। उसका कहना है कि हम एक रियूजेबल (दोबारा इस्तेमाल योग्य) स्पेसक्राफ्ट का परीक्षण कर रहे थे। हाइपरसोनिक हथियार ध्वनि की गति से पांच गुना अधिक रफ्तार से यात्रा करते है जिससे राडार पर इन्हें देख पाना काफी कठिन हो जाता है।

चीन धरती के साथ-साथ अंतरिक्ष पर भी अपनी ताकत का लोहा मनवाने के लिए बड़े से बड़े मिशन पूरे कर रहा है। वह अंतरिक्ष में अपना खुद का स्पेस स्टेशन तैयार कर रहा है। इसके अलावा वह धरती पर अपनी सैन्य क्षमता को लगातार बढ़ा रहा है। चीन का मकसद अमेरिका से आगे निकलकर सबसे बड़ी महाशक्ति बनना है।

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