पाकिस्तान ने फिर अलापा कश्मीर राग, इमरान खान ने कहा दक्षिण एशिया में शांति के लिए कश्मीर मुद्दे का समाधान
नई दिल्ली – पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान (Imran Khan) ने सोमवार को एक बार फिर कश्मीर मुद्दे को लेकर पुराना राग छेड़ा. उन्होंने कहा कि दक्षिण एशिया में स्थायी शांति एवं स्थिरता के लिए संयुक्त राष्ट्र के प्रस्तावों और कश्मीरी लोगों की इच्छा के अनुसार कश्मीर मुद्दे का न्यायसंगत समाधान जरूरी है.खान ने यह टिप्पणी जम्मू-कश्मीर के लिए इस्लामिक सहयोग संगठन (ओआईसी) के विशेष दूत, यूसुफ एल्डोबे से बात करते हुए की. एल्डोबे ने मानवीय मामलों के सहायक महासचिव तारिग बख्त और ओआईसी प्रतिनिधिमंडल के अन्य वरिष्ठ सदस्यों के साथ उनसे मुलाकात की.
खान ने दोहराया कि संयुक्त राष्ट्र के प्रस्तावों और कश्मीरी लोगों की इच्छाओं के अनुसार कश्मीर का न्यायसंगत समाधान दक्षिण एशिया में स्थायी शांति और स्थिरता के लिए एक पूर्वापेक्षा है. प्रधानमंत्री कार्यालय ने एक बयान में कहा कि खान ने मानवाधिकारों के कथित उल्लंघन की जांच के लिए मानवाधिकार संगठनों और मीडिया की जम्मू-कश्मीर में पहुंच की भी मांग की.उन्होंने आरोप लगाया कि 5 अगस्त, 2019 से भारत की एकतरफा कार्रवाई का उद्देश्य कश्मीरियों को मताधिकार से वंचित करना और जनसांख्यिकीय संरचना को बदलना है. उल्लेखनीय है कि 5 अगस्त, 2019 को भारत ने जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा वापस ले लिया था और राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित कर दिया था.
भारत अंतरराष्ट्रीय समुदाय से स्पष्ट रूप से कह चुका है कि अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधानों को खत्म करना उसका आंतरिक मामला है. इसने पाकिस्तान को वास्तविकता को स्वीकार करने और भारत विरोधी सभी दुष्प्रचार को रोकने की भी सलाह दी है. भारत ने पाकिस्तान से कहा है कि वह आतंक, शत्रुता और हिंसा से मुक्त वातावरण में इस्लामाबाद के साथ सामान्य पड़ोसी संबंध चाहता है.
खान ने यह टिप्पणी जम्मू-कश्मीर के लिए इस्लामिक सहयोग संगठन (ओआईसी) के विशेष दूत, यूसुफ एल्डोबे से बात करते हुए की। एल्डोबे ने मानवीय मामलों के सहायक महासचिव तारिग बख्त और ओआईसी प्रतिनिधिमंडल के अन्य वरिष्ठ सदस्यों के साथ उनसे मुलाकात की.
पाकिस्तानी पीएम ने लाइव प्रसारण सत्र के दौरान जनता से सवालों का जवाब देते हुए कहा था, जब तक भारत 5 अगस्त को उठाए गए कदमों से पीछे नहीं हटता, पाकिस्तानी सरकार भारत से बिल्कुल भी बात नहीं करेगी. इससे पहले, पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने कहा कि वर्तमान में भारत के साथ कोई बातचीत नहीं हो रही है. लेकिन यदि नई दिल्ली ने कश्मीर को लेकर अपनी नीति में बदलाव करता है और कश्मीर के लोगों को राहत प्रदान करता है तो बातचीत आयोजित की जा सकती है.