मुंबई – सेंचुरियन टेस्ट का पहला दिन टीम इंडिया के नाम रहा इसका मतलब ये नहीं कि टीम इंडिया के साथ हुई गड़बड़ को नजरअंदाज कर दिया जाए. साउथ अफ्रीका के खिलाफ सेंचुरियन टेस्ट के पहले दिन मयंक अग्रवाल के विकेट पर हंगामा बरपा है. फैंस सवाल खड़े कर रहे हैं. DRS और बॉल ट्रेकिंग तकनीक लेकर बवाल मचा है.
What happened there? That's not a proper track. What if that's 'umpire's call'?
— KASHISH (@crickashish217) December 26, 2021
अब तो वसीम जाफर जैसे भारत के पूर्व क्रिकेटर भी इस हंगामे का हिस्सा बन गए हैं. दरअसल, ये पूरा मामला भारतीय ओपनर मयंक अग्रवाल के विकेट से जुड़ा है. मयंक 60 रन बनाकर लुंगी नगीडी का शिकार बने. लेकिन, जिस बॉल पर, जिस अंदाज में उन्हें आउट करार दिया गया वो कुछ रास नहीं आया. खुद मयंक भी हैरान थे जब उन्हें आउट दे दिया गया था. और बाद में फैंस ने जो सोशल मीडिया पर जो बवाल मचाया वो तो दिखा ही. मयंक के खिलाफ जब LBW की अपील हुई तब फील्ड अंपायर ने तो उन्हें नॉट आउट ही दिया. पर साउथ अफ्रीका ने DRS का इस्तेमाल किया, जो मयंक अग्रवाल के खिलाफ गया.
No way that was hitting. Umpire's call at best. Unlucky Mayank.
Exclusive footage of the ball tracking operator driving to the ground: #SAvIND pic.twitter.com/ThLf11PPE4— Wasim Jaffer (@WasimJaffer14) December 26, 2021
सवाल है क्या मयंक अग्रवाल को LBW देने का फैसला सही था? क्या ये डिसीजन अंपायर्स कॉल नहीं होना चाहिए था?लुंगी नगीडी की जिस गेंद पर मयंक आउट हुए वो टप्पा खाने के बाद अंदर आई. ये गेंद थोड़ी सी बैक ऑफ लेंथ थी. गेंद अग्रवाल के पैड पर थोड़ा ऊपर लगी. अंपायर इरेसमस के साथ सभी को यही लगा कि गेंद विकेट को मिस कर देगी. लेकिन बॉल ट्रेकिंग में बॉल को विकेट के ऊपरी हिस्से पर हिट करते दिखाया गया. लेकिन बॉल जितना विकेट के ऊपरी हिस्से को छू रही थी, उससे यही लगा कि ये अंपायर्स कॉल होता. पर ऐसा नहीं हुआ.
भारत के पूर्व ओपनर वसीम जाफर भी इसी बात से इत्तेफाक रखते हैं कि ये डिसीजन अंपायर्स कॉल होना चाहिए था. उन्होंने मयंक अग्रवाल को इसके लिए अनलकी ठहराया.