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पनामा पेपर्स मामला : ED के दफ्तर से बाहर निकलीं ऐश्वर्या राय बच्चन, करीब 6 घंटे तक हुई पूछताछ


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मुंबई – पनामा पेपर्स मामले से जुड़ी जांच को लेकर बच्चन परिवार की बहू ऐश्वर्या राय सोमवार को दिल्ली स्थित प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के दफ्तर में पहुंची थी. ईडी ने मामले में चल रही जांच के सिलसिले में पूछताछ के लिए उन्हें समन भेजा था. ऐश्वर्या राय की पेशी दिल्ली स्थित लोकनायक भवन में हुई. करीब 6 घंटे तक ऐश्वर्या राय से सवाल जवाब करने के बाद ED की पूछताछ खत्म हो गई है. ईडी ने पनामा लीक केस से जुड़े सवालों के जवाब दर्ज कर लिए हैं.

सूत्रों के मुताबिक, ऐश्वर्या राय से वर्जिन आइलैंड स्तिथ अमीक प्रमोटर्स प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के स्वामित्व को लेकर पूछताछ की गई. साथ ही, कंपनी के साल 2005 से लेकर साल 2008 तक सालाना टर्नओवर और बैंक अकॉउंट से संबंधित जानकारी भी ली गई. ED अधिकरियों के पास पनामा पेपर लीक केस में इस कंपनी से जुड़े तमाम दस्तावेज मौजूद हैं, कंपनी के बैंक स्टेटमेंट से भी ऐश्वर्या राय का आमना-सामना करवाया गया. साथ ही, कंपनी में ऐश्वर्या के माता-पिता और भाई शेयरहोल्डर थे, जिसको लेकर से भी ऐश्वर्या से सवाल-जवाब हुए.

जानकारी के मुताबिक प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की तरफ से ऐश्वर्या राय से पूछे जाने वाले सवालों की सूची पहले से तैयार कर ली गई थी. बता दें कि अभिषेक बच्चन से इस मामले में पिछले महीने ही पूछताछ हुई थी. पनामा पेपर्स मामले की जांच के सिलसिले में कई बड़े चेहरों से पूछताछ हो चुकी है. देश की कई बड़ी हस्तियां जांच में शामिल हो चुकी हैं. बॉलीवुड एक्टर अभिषेक बच्चन भी एक महीने पहले ईडी दफ्तर पहुंचे थे, जहां उनसे पूछताछ की गई थी. सूत्रों के मुताबिक अमिताभ बच्चन को भी मामले में जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की तरफ से नोटिस भेजा जा सकता है.

वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने एक सवाल के लिखित जवाब में राज्यसभा में बताया कि ‘इंटरनेशनल कंसोर्टियम ऑफ इन्वेस्टिगेटिव जर्नलिस्ट्स’ (आईसीआईजे) के खुलासा किए गए मामलों में की गई निरंतर जांच से अब तक अघोषित विदेशी खातों में 11,010 करोड़ रुपये से अधिक जमा का पता चला है.

उन्होंने कहा कि काला धन (अघोषित विदेशी आय तथा परिसंपत्ति) तथा कर अधिरोपण कानून, 2015 के तहत 30 सितंबर, 2015 को समाप्त तीन महीने की अनुपालन व्यवस्था के तहत 4,164 करोड़ रुपये की अघोषित विदेशी संपत्ति से जुड़े 648 खुलासे किए गए. उन्होंने कहा कि पनामा तथा पैराडाइज पेपर लीक मामले में भारत से संबद्ध 930 इकाइयों के संबंध में 20,353 करोड़ रुपये की राशि के कुल अघोषित जमा का पता चला है.

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