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कोरोना से मौत को रोकने में वैक्सीन की सिंगल डोज 96.6% और डबल डोज 97.5 % प्रभावी : स्वास्थ्य मंत्रालय


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नई दिल्ली – भारत में कोरोना संक्रमण की रफ्तार फिलहाल कम है, हालांकि तीसरी लहर का खतरा लगातार बना हुआ है। सरकार की कोशिश है कि तीसरी लहर की दस्तक से पहले पात्र आबादी का कोरोना वैक्सीनेशन पूरा हो जाए ताकि संक्रमण से होने वाली मौत को रोका जा सके। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने गुरुवार को बताया कि देश में कोविड-19 से होने वाली मौतों को रोकने में कोविड वैक्सीन की सिंगल डोज 96.6 प्रतिशत जबकि दोनों डोज 97.5 प्रतिशत प्रभावी है।

स्वास्थ्य मंत्रालय ने यह भी कहा कि एक नया वैक्सीन ट्रैकर लॉन्च किया जा रहा है जिसमें कोरोना वैक्सीनेशन की पूरी डिटेल और संक्रमण के बाद वैक्सीनेशन कराने वाले लोगों की मृत्यु की संख्या की जानकारी होगी। स्वास्थ्य और परिवार कल्याण के केंद्रीय सचिव राजेश भूषण ने कहा- यह एक महत्वाकांक्षी पहल है जिसका उद्देश्य संक्रमण और इससे होने वाली मौतों की निगरानी करना है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की एक ब्रीफिंग में इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के महानिदेशक बलराम भार्गव ने कहा कि वैक्सीन ‘ट्रैकर’ को को-विन पोर्टल, राष्ट्रीय कोविड-19 जांच आंकड़े और कोविड-19 इंडिया पोर्टल के आंकड़ों के तालमेल से विकसित किया गया है।

18 अप्रैल से 15 अगस्त तक कोविड ‘ट्रैकर’ के आंकड़ों का हवाला देते हुए कहा कि मृत्यु दर को रोकने में वैक्सीन की प्रभावशीलता 96.6 प्रतिशत और दूसरी डोज लेने के बाद 97.5 प्रतिशत है। नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) वीके पॉल ने कहा, ‘कोरोना वैक्सीन की दोनों डोज लेने के बाद, बीमारी की गंभीरता और इससे होने वाली मृत्यु से लगभग पूरी सुरक्षा मिलती है।’

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